DCR Vs Non-DCR Solar Panels: सोलर पैनल खरीदते समय, हर किसीके सामने DCR बनाम NON-DCR सोलर पैनल्स की चर्चा जरूर की जाती है, और यदि आप भी अपने यहाँ सोलर पैनल सिस्टम लगवाने की सोच रहे हो, तो आपको इन दोनों तरह के सोलर पैनल्स के बिच का अंतर जरूर पता होना चाहिए। क्योकि इन दोनों तरह का पैनल्स पर निर्भर करेगा की आपको सोलर पैनल सिस्टम लगवाने में कितना खर्चा आएगा। तो आइये इस लेख में आगे बढ़ते है, और जानते है DCR और NON-DCR सोलर पेनल्स के बिच क्या अंतर होता है, और आपको कौनसे प्रकार के सोलर पैनल्स लगवाने चाहिए।
DCR सोलर पैनल क्या है?

DCR का मतलब है डोमेस्टिक कंटेंट रिक्वायरमेंट (Domestic Content Requirement)। आप इन पैनल्स को देखकर बिलकुल भी पता नहीं लगा सकते की इनमे से कौनसे पैनल्स DCR है और कौनसे NON-DCR. DCR सोलर पैनल्स यानी ऐसे सोलर पैनल्स जिनकी निर्मिति पूरी तरह से भारत में की जाती हो। और इन सोलर पैनल्स में लगने वाले सभी कंपोनेंट्स भी भारत में ही निर्मित होने चाहिए, जैसे की (Solar Cell, Solar Glass, EVA, Back Sheet, Aluminum Frame, Junction Box, Interconnector, Silicon Glue) इन पैनल्स को भारत में ही निर्मित किये जाने से, भारत में रोजगार बढ़ेगा, जिससे भारत के नागरिकों का लाभ होगा।
DCR सोलर पैनल के फायदे क्या है?
DCR सोलर पैनल्स का सबसे बड़ा फायदा यही है की आपको DCR सोलर पैनल लगवाकर सब्सिडी का लाभ उठा सकते हो। और सब्सिडी की राशि मिलने से सोलर पैनल सिस्टम की कीमत भी कम हो जाती है। इन सोलर पैनल्स का उपयोग करके आप भारत में निर्मित होने वाले पैनल्स का उद्योग बढ़ने में मदत करोगे। यह पैनल्स भारत में ही निर्मित होने के कारण इन पैनल्स की मरम्मत और सर्विस आसानी से उपलब्ध होती है।
DCR सोलर पैनल के नुकसान क्या है?
यदि हम इन DCR सोलर पैनल्स की कीमत की बात करे तो यह NON-DCR पैनल्स की तुलना में थोड़े महंगे होते है। और काफी सारे लोगों का ऐसा मानना है की इनकी दक्षता भी NON-DCR पैनल्स से थोड़ी कम ही होती है।
NON-DCR सोलर पैनल क्या है?

NON-DCR सोलर पैनल ऐसे सोलर पैनल्स होते है, जो भारत में निर्मित नहीं होते, जिनकी निर्मिति विदेशों में की जाती है। और इन पैनल्स को भारत में आयात किया जाता है। यह पैनल कीमत में सस्ते हर कुशल होते है।
NON-DCR सोलर पैनल के फायदे क्या है?
यह सोलर पैनल्स काफी सस्ते होते है, इसके साथ इनकी दक्षता भी अधिक होती है, और आप अगर किसी अंतर्राष्ट्रीय सोलर पैनल की तलाश में हो तो आपको अच्छे दाम है अच्छी दक्षता वाला सोलर पैनल भी मिल जाएगा। इन सोलर पैनल्स का मात्र एक ही नुकसान है, की आपको इन सोलर पैनल्स पर सब्सिडी का लाभ नहीं मिलता।
DCR या NON-DCR कौनसा पैनल ख़रीदे?
अक्सर लोगो का सबसे बड़ा सवाल यही होता है की उन्हें कौनसा सोलर पैनल लगवाना चाहिए, क्योकि DCR और NON-DCR दोनों के अपने अलग-अलग फायदे और नुकसान है, आप यदि सोलर पैनल सिस्टम लगवाकर पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना या पीएम कुसुम योजना जैसी सब्सिडी योजनाओ का लाभ लेना चाहते हो, तो आपको DCR सोलर पैनल ही लगवाने चाहिए, पर NON-DCR की तुलना में आपको यह पैनल्स थोड़े महंगे पढ़ सकते है। वही आप एक ऐसा सोलर सिस्टम लगवाना चाहते हो जिसमे सब्सिडी का लाभ नहीं मिलता, जैसे की ऑफ ग्रिड या हाइब्रिड सोलर सिस्टम, तो आपको NON-DCR के ही पैनल्स खरीदने चाहिए, ताकि इन पैनल्स की कीमत थोड़ी कम होती है, जिसके कारण आपकी लागत भी कम हो जायेगी।
इसके अलावा आप यदि 10 किलोवाट से अधिक का सोलर सिस्टम लगवाने की सोच रहे हो, और आपको अपने कुछ पैसे भी बचाने है तो आप NON-DCR सोलर पैनल्स लगवा सकते हो, क्योकि इसमें आपको सब्सिडी की राशि भी काफी काम मिलती है।
आइये हम उदाहर के जरिये जानते है की 3 किलोवाट ऑन ग्रिड सोलर सिस्टम में DCR और NON-DCR सोलर पैनल्स लगवाकर आपको कुल कितना खर्चा आएगा।
3 किलोवाट ऑन ग्रिड सोलर सिस्टम की कीमत (DCR PANELS) = 1,80,000
3 किलोवाट ऑन ग्रिड सोलर सिस्टम की कीमत (NON-DCR PANELS) = 1,70,000
ऊपर बताये गए उदाहरण में आपको NON-DCR की कीमत कम देखने मिलेगी, पर सब्सिडी के लाभ के बाद आपको DCR PANELS काफी सस्ते पड़ेंगे, क्योकि आपको केंद्र सरकार द्वारा 78,000 की सब्सिडी भी मिलेगी यानी 1,80,000 – 78,000 = 1,02,000 का खर्चा आएगा।
उम्मीद है की आपको अच्छे से पता चल गया होगा की DCR बनाम NON-DCR सोलर पैनल्स क्या होते है। आप यदि सोलर पैनल सिस्टम लगवाकर सब्सिडी का भी लाभ उठाना चाहते हो तो आपको DCR सोलर पैनल्स ही खरीदने होंगे, जिससे आप अपना काफी सारा पैसा बचा सकते हो।

दोस्तों में इस सोलर ब्लॉग का एडमिन हूँ, इस ब्लॉग पर में रोजाना सोलर पैनल, सोलर ऊर्जा, सोलर योजना और सोलर प्रोडक्ट्स से जुडी जानकारी शेयर करता हूँ।
20 किलो वाट का ऑन ग्रेट सोलर पैनल के लिए सलाह दें